कार्मेल एंडरसन, एक खूबसूरत अंग्रेजी गुलाब, मालिश कक्ष में सांत्वना चाहती है। जैसे ही उसकी पीठ का पता चलता है, वह एक कुशल मौखिक दावत का इलाज करती है। जब वह अभिभूत होती है, तो वह परमानंद से धार छोड़ती है, जिससे उसका शरीर ऐंठन से भर जाता है। एक मलाईदार समापन इस ब्रिटिश सौंदर्य की प्रतीक्षा करता है।